क्राइम रेट क्यों नहीं दिखेगा जब पुलिस करेगी ही नहीं मामला दर्ज। थानें में आवेदन देने के बाद भी करीब एक सप्ताह होने को आये तेघड़ा थाना पुलिस जांच करवाना भी उचित नहीं समझें
तेघड़ा ( बेगूसराय )एक ओर दावे बेहतर पुलिस व्यवस्था का तो दूसरी ओर लगातार सुर्खियों में रहना बेगूसराय पुलिस की फितरत में शामिल हो गई है। जानिए कैसे सुर्खियां बटोरती है बेगूसराय जिलें के तेघड़ा थाना पुलिस , तेघड़ा थाना क्षेत्र के पकठौल पंचायत निवासी मिथलेश देवी ने थानें में दिए आवेदन में बताया कि रामबाबू महतों और गोरेलाल महतों, इत्यादि लोगों ने घर पर आकर रंगदारी की मांग किया और नहीं देने जहां मिथलेश देवी के साथ छेड़खानी के साथ मारपीट भी किया गया। वहीं थानें में आवेदन देने के बाद भी करीब एक सप्ताह होने को आये तेघड़ा थाना पुलिस जांच करवाना भी उचित नहीं समझें। हो भी क्यों नहीं श्रीमान थानाध्यक्ष महोदय को अपने सीनियर अधिकारी को ये भी तो दिखाना है क्षेत्र में क्राईम रेट कम है। हम दूसरी भाषा में ये भी कह सकते हैं जब (पुलिस करेगी ही नहीं मामला दर्ज कैसे दिखेगा क्राईम रेट)।
वहीं मिडिया कर्मी को पिड़ित महिला मिथलेश देवी बताती है कि उसके पति परदेश में मजदूरी करते हैं जिसका फायदा उठा कर रामबाबू महतों और गोरेलाल महतों द्वारा कभी मारपीट किया जाता है,कभी छेड़खानी की घटना को अंजाम दिया जाता है। पुलिस से मदद लेने जाओ तो पुलिस के द्वारा आवेदन बहुत मुश्किल से लिया जाता है और आवेदन लेने के बाद भी जांच भी करने कोई अधिकारी नहीं आतें हैं। बुद्धिजीवी वर्ग बताते हैं कि पुलिस व उसका सुरक्षा व्यवस्था केवल अमीरों के दिखाई देता है गरीबों को तो केवल जांच के नाम पर दबंगों से मार खाना ही नसीब बन चुका है। ऐसी व्यवस्था से क्या जनता का विश्वास हासिल करने में कामयाब होंगे पुलिसकर्मी महोदय।